रांची। कुछ दिनों बाद दशहरा, दीपावली और छठ पूजा का महापर्व शुरू होना है. ऐसे में दशहरा के लिए जगह जगह पूजा पंडाल को बनाने का काम शुरू हो चुका है. पूजा पंडालों की सजावट के लिए बिजली कनेक्शन लेने की तैयारी में आजोयक जुट गए हैं. वहीं ऊर्जा विभाग ने इस संबंध में जरूरी सूचना जारी कर कहा है कि पंडालों में कनेक्शन लेने से पहले झारखंड विद्युत वितरण निगम लिमिटेड से अनुमति लेना जरूरी होगा. निगम को बताना होगा कि उन्हें कितने विद्युतभार की आवश्यकता है. पंडालों में बिजली आपूर्ति के लिए निगम के पदाधिकारी से लोड स्वीकृत कराने के बाद ही बिजली कनेक्शन लेना है. कनेक्शन के दौरान भारतीय विद्युत नियमावली में विनिर्दिष्ट सुरक्षात्मक उपायों के अनुसार ही अस्थायी लाइन कनेक्शन का कार्य करना है. इसके अलावा इन बिंदुओं का भी ध्यान रखना है.
इन शर्तों का पालन करने का रखें ध्यान
ऊर्जा विभाग के चीफ इंजीनियर विजय कुमार सिन्हा ने इस संबंध में आवश्यक सूचना जारी करते हुए कहा है कि पंडालों एवं भवनों में अर्थिंग की समुचित व्यवस्था होनी चाहिये. प्रत्येक पंडाल में अंततः दो अर्थपिटों का निर्माण कराना आवश्यक है. इलेक्ट्रिक कंट्रोल रूम या पैनल ऐसे जगह पर बनाएं, जहां श्रद्धालुओं की भीड़ ना हो. बिजलीकर्मियों को आसानी से वहां आने जाने में सहूलियत हो. जेनरेटर अगर लगा रहे हों तो नियमानुसार ऐसा करें. मेन स्वीच एवं चेंज ओवर का व्यवहार जरूर हो. लोड के अनुरूप ही तारों का साईज यूज करना है. अंडर साईज तार का उपयोग सुरक्षित नहीं होगा.
इसके अलावा स्वीच बोर्ड और तार को बच्चों की पहुंच से दूर रखना होगा. पंडाल एवं गेट को ओवर हेड लाईन से दूर रखें. इलेक्ट्रिक कंट्रोल रूम में रबर मेट, अग्निशामक यंत्र, सूखे बालू से भरी बाल्टी, शॉक ट्रिटमेंट चार्ट, खतरे की मानक सख्ती एवं रबर हैंड ग्लव्स रखना समझदारी है. पंडाल परिसर में प्रवेश एवं निकासी के लिए अलग अलग गेट हो. इलेक्ट्रिफिकेशन का कार्य अनुज्ञा पत्र (लाइसेंस धारी) विद्युत ठेकेदार से ही कराएं.